रेल, संचार, इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री अश्विनी वैष्णव ने एक दिन पहले 25 अगस्त को घोषणा है कि देश में 12 अक्टूबर 2022 को 5G सर्विस लांच की जाएगी। जहां एक ओर देश में प्राइवेट टेलीकॉम ऑपरेटर 5G सर्विस लांच करने की तैयारी में हैं वहीं दूसरी ओर देश की सरकारी टेलीकॉम ऑपरेटर BSNL अभी तक ग्राहकों को 4G सर्विस तक नहीं दे पा रही है।
यही नहीं BSNL ग्राहकों को देश के प्रमुख शहरों तक में भी सही से नेटवर्क नहीं प्रोवाइट कर पा रही है। इसी बीच खबर आ रही है कि केंद्र सरकार 2025 तक BSNL के 13,567 मोबाइल टावर बेचने जा रही है, जिसके जरिए सरकार ने 4 हजार करोड़ रुपए जुटाना चाहती है। मीडिया रिपोर्ट के अनुसार सरकार के द्वारा BSNL और MTNL के टावर बेचने के लिए KPMG को फाइनेंशियल एडवाइजर के तौर पर नियुक्त किया गया है। इसके बाद अब सरकार BSNL के टावर्स को चरणबद्ध तरीके से बेचेगी।
BSNL के पास देशभर में हैं 68 हजार टावर
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार दिल्ली, मुंबई को छोड़कर देश के हर कोने में BSNL के पास कुल 68 हजार मोबाइल टावर हैं, जिसमें से 70% टॉवर्स फाइबर केबल से जुड़े हुए हैं। फाइबर केबल से जुड़े ये टावर्स 4G व 5G सर्विस को शुरू करने के लिए एकदम तैयार हैं, लेकिन BSNL अभी घाटे में चल रही है। इस घाटे को कम करने के लिए सरकार ने भारत ब्रॉडबैंड नेटवर्क को BSNL के साथ विलय कर रही है। हालांकि अब देखने वाली बात होगी कि BSNL कब घाटे से उबर पाती है और कब वह देश में 4G सर्विस दे पाती है।
BSNL के रिवाइवल के लिए 1.64 लाख करोड़ रुपए की दी गई है मंजूरी
पिछले महीने 27 जुलाई को ही सरकार ने BSNL के रिवाइवल के लिए 1.64 लाख करोड़ रुपए की मंजूरी दी है। केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव ने इसके बारे में बताते हुए कहा था कि इस रिवाइवल पैकेज से BSNL की 4G सर्विस के विस्तार में मदद के लिए स्पेक्ट्रम का आवंटन किया जाएगा।
सरकारी रवैया छोड़कर ठीक से करें काम bsnl
BSNL के रिवाइवल के लिए 1.64 लाख करोड़ रुपए की मंजूरी देने के बाद केंद्रीय इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री अश्विनी वैष्णव ने 4 अगस्त को BSNL के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ बैठक की थी। इसमें उन्होंने 62 हजार कर्मचारियों को हिदायत दी थी, जिसका एक ऑडियो लीक हुआ है, जिसमें वह ‘सरकारी’ रवैया छोड़कर कर्मचारियों से ठीक से काम करने को कहा था। इसके साथ ही उन्होंने कहा था कि सरकारी रवैया छोड़कर ठीक से काम करें, वर्ना घर प बैठ जाएं।