पाकिस्तान में नए आर्मी चीफ (Pakistan New Army Chief) का ऐलान हो गया। जनरल आसिम मुनीर (Asim Munir) पाकिस्तान के नए आर्मी चीफ होंगे। वह जनरल कमर जावेद बाजवा की जगह लेंगे।
पाकिस्तान सरकार में मंत्री मरियम औरंगजेब ने पाकिस्तान के नए आर्मी चीफ के नाम की जानकारी दी है। प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने लेफ्टिनेंट जनरल असीम मुनीर के नाम पर मुहर लगाने के साथ ही ज्वाइंट चीफ्स ऑफ स्टाफ कमेटी के नए अध्यक्ष के नाम को भी हरी झंडी दे दी है। पीएम शहबाज ने लेफ्टिनेंट जनरल साहिर शमशाद मिर्जा को नया ज्वाइंट चीफ्स ऑफ स्टाफ कमेटी बनाने पर अपनी सहमति दे दी है।
पाकिस्तान के नए आर्मी चीफ (Pak New Army Chief): पाकिस्तान के सूचना और प्रसारण मंत्री मरियम औरंगजेब ने बताया कि पीएम शहबाज शरीफ ने जनरल साहिर शमशाद मिर्जा को जॉइंट चीफ ऑफ स्टाफ कमेटी का चेयरमैन और लेफ्टिनेंट जनरल सैयद आसिम मुनीर को आर्मी चीफ नियुक्त करने का फैसला किया है। उन्होंने बताया कि लेफ्टिनेंट जनरल मुनीर और लेफ्टिनेंट जनरल शमशाद मिर्जा के नाम पर अंतिम सहमति के लिए प्रस्ताव को राष्ट्रपति आरिफ अल्वी के पास भेजा जाएगा। राष्ट्रपति की स्वीकृति मिलते ही लेफ्टिनेंट जनरल मुनीर सेनाध्यक्ष का पद संभाल लेंगे।
रह चुके हैं ISI के मुखिया: पाकिस्तान के नए चीफ ऑफ आर्मी स्टाफ लेफ्टिनेंट जनरल मुनीर फ्रंटियर फोर्स रेजिमेंट से हैं। उन्होंने देश की विशिष्ट जासूसी एजेंसियों- इंटर-सर्विसेज इंटेलिजेंस का नेतृत्व किया है। उन्होंने अफगानिस्तान, चीन और भारत की सीमा से लगे उत्तरी क्षेत्रों में जनरल बाजवा की कमान के तहत काम किया है। लेफ्टिनेंट जनरल मुनीर को 2017 की शुरुआत में पाकिस्तान की सैन्य खुफिया विभाग का महानिदेशक बनाया गया था। अक्टूबर 2018 में वह आईएसआई के महानिदेशक बने।
इमरान खान (Imran khan) ने आठ महीने के भीतर हटा दिया था पद से: पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान ने अपनी नियुक्ति के आठ महीने के भीतर ही जनरल आसिम मुनीर को आईएसआई प्रमुख के पद से हटा दिया था और उनकी जगह अपने करीबी माने जाने वाले एक अधिकारी को नियुक्त किया था। कहा जाता है कि मुनीर द्वारा खान की पत्नी बुशरा बीबी के परिवार के भ्रष्टाचार में शामिल होने के बारे में प्रधानमंत्री के संज्ञान में लाए जाने के बाद खान उनसे नाराज हो गए थे।
लेफ्टिनेंट जनरल मुनीर 27 नवंबर को सेवानिवृत्त होने वाले थे। लेकिन अब सेना प्रमुख के रूप में उनकी नियुक्ति के साथ वह तीन साल और सर्विस देंगे। लेफ्टिनेंट जनरल मुनीर ने मंगला में ऑफिसर्स ट्रेनिंग स्कूल कार्यक्रम के माध्यम से सैन्य सेवा में प्रवेश किया था। उन्हें फ्रंटियर फोर्स रेजिमेंट में नियुक्त किया गया था। वह जनरल बाजवा के करीबी सहयोगी रहे हैं।